Sri Venkateswara Vajra-Kavacha Stotram, श्रीवेंकटेश्वर वज्र कवच स्तोत्र

श्रीवेंकटेश्वर वज्र कवच स्तोत्र/Sri Venkateswara Vajra-Kavacha Stotram

श्रीवेंकटेश्वर वज्र कवच स्तोत्र/Sri Venkateswara Vajra-Kavacha Stotram

नारायणं परब्रह्म सर्वकारण कारकं,

 प्रपद्ये वेङ्कटेशाख्यां तदेव कवचं मम ॥

सहस्रशीर्षा पुरुषो वेङ्कटेशश्शिरो वतु,

 प्राणेशः प्राणनिलयः प्राणाण् रक्षतु मे हरिः ॥

आकाशराट् सुतानाथ आत्मानं मे सदावतु,

देवदेवोत्तमोपायाद्देहं मे वेङ्कटेश्वरः ॥

सर्वत्र सर्वकालेषु मङ्गाम्बाजानिश्वरः,

 पालयेन्मां सदा कर्मसाफल्यं नः प्रयच्छतु ॥

य एतद्वज्रकवचमभेद्यं वेङ्कटेशितुः,

सायं प्रातः पठेन्नित्यं मृत्युं तरति निर्भयः ॥

॥ इति श्री वेङ्कटेस्वर वज्रकवचस्तोत्रं सम्पूर्णम् ॥

Sri Venkateswara Vajra-Kavacha Stotram/श्रीवेंकटेश्वर वज्र कवच स्तोत्र 

mārkaṇḍēya uvācha

nārāyaṇaṃ parabrahma sarvakāraṇa kārakaṃ
prapadyē veṅkaṭēśākhyāṃ tadēva kavachaṃ mama

sahasraśīrṣā puruṣō vēṅkaṭēśaśśirō vatu
prāṇēśaḥ prāṇanilayaḥ prāṇāṇ rakṣatu mē hariḥ

ākāśarāṭ sutānātha ātmānaṃ mē sadāvatu
dēvadēvōttamōpāyāddēhaṃ mē vēṅkaṭēśvaraḥ

sarvatra sarvakālēṣu maṅgāmbājāniśvaraḥ
pālayēnmāṃ sadā karmasāphalyaṃ naḥ prayachChatu

ya ētadvajrakavachamabhēdyaṃ vēṅkaṭēśituḥ
sāyaṃ prātaḥ paṭhēnnityaṃ mṛtyuṃ tarati nirbhayaḥ

iti śrī veṅkaṭēsvara vajrakavachastōtraṃ sampūrṇam ॥

श्रीवेंकटेश्वर वज्र कवच स्तोत्र/Sri Venkateswara Vajra-Kavacha Stotram विशेषताए:

श्रीवेंकटेश्वर वज्र कवच स्तोत्र के साथ-साथ यदि श्री वेंकटेश्वर अष्टकम का पाठ किया जाए तो, इस स्तोत्र का बहुत लाभ मिलता है, यह स्तोत्र शीघ्र ही फल देने लग जाते है| यदि साधक इस स्तोत्र का पाठ प्रतिदिन करने से बुराइया खुद- ब- खुद दूर होने लग जाती है साथ ही सकरात्मक ऊर्जा प्राप्त होती है| अपने परिवार जनों का स्वस्थ्य ठीक रहता है और लम्बे समय से बीमार व्यक्ति को इस स्तोत्र का पाठ सच्चे मन से करने पर रोग मुक्त हो जाता है| यदि मनुष्य जीवन की सभी प्रकार के भय, डर से मुक्ति चाहता है तो वह इस स्तोत्र का पाठ करे|

श्रीवेंकटेश्वर वज्र कवच स्तोत्र के पाठ करने से मनोवांछित कामना पूर्ण होती है| और नियमित रुप से करने से रुके हुए कार्य भी पूर्ण होने लगते है | और साधक के जीवन में रोग, भय, दोष, शोक, बुराइया, डर दूर हो जाते है साथ ही श्री वेंकटेश जी की पूजा करने से आयु, यश, बल, और स्वास्थ्य में वृद्धि प्राप्त होती है। याद रखे इस पाठ को करने से पूर्व अपना पवित्रता बनाये रखे| इससे मनुष्य को जीवन में बहुत अधिक लाभ प्राप्त होता है|